"मसीहत परमेश्वर के साथ एक रिश्ता है।"
आशा है कि यहां पर उपलब्ध संसाधन आपकी आत्मिक उन्नति के लिए सहायक उपकरण सिद्ध होंगे। आइए साथ में उस दौड़ को पूरा करें, जिसके लिए प्रभु ने हम सबको बुलाया है। प्रभु का आनंद हमारी ताकत है।
फिलिप्पुस और कूश देश का अधिकारी
परमेश्वर ने किसी न किसी को आपके पास ज़रुर सुसमाचार लेकर भेजा ताकि आप परमेश्वर के प्रेम को जान पाएँ परमेश्वर किसी के साथ भी भेदभाव नहीं करते हैं।
किस पर भरोसा करना चाहिए?
क्योंकि इसका जवाब आपके जीवन की प्राथमिकताओं को तय करते हैं, आपकी जीवन शैली को निर्धारित करती हैं। ये आपके प्रतिदिन के जीवन को प्रभावित करते हैं, और न सिर्फ इस जीवन को पर आने वाले जीवन को भी प्रभावित करती है।
मन फिराओ और विश्वास करो (Repent and Believe)
उद्धार यानि मोक्ष, मुक्ति सिर्फ यीशु में विश्वास करने से और अपने पापों को उसके समक्ष स्वीकार करने से मिलता है। पश्चाताप का क्या मतलब होता है? – पाप से मुंह फेर लेना और प्रभु यीशु का अनुयायी बन जाना।
आप अपना मन कहाँ लगाते हैं?
क्योंकि एज्रा ने यहोवा की व्यवस्था का अर्थ जान लेने, और उसके अनुसार चलने, और इस्राएल में विधि और नियम सिखाने के लिये अपना मन लगाया था। – एज्रा 7:10
Study It (Know)
एज्रा ने अपना मन परमेश्वर के वचन का अर्थ जान लेने में लगाया, इसलिए उसने इसका अध्ययन किया। क्या आपके पास आज समय है परमेश्वर के वचन का अर्थ जानने के लिए, अर्थात इसके अध्ययन के लिए?
Practice It (Be)
एज्रा ने अपना मन परमेश्वर के वचन का अभ्यास करने में लगाया। उसने इसे सबसे पहले अपने जीवन में लागू किया। क्या आप भी वचन के अनुसार जी रहे हैं?
Teach It (Do)
एज्रा ने परमेश्वर के वचन को सिखाने में भी मन लगाया। अर्थात जिसका उसने अर्थ जाना, उसके बाद अपने जीवन में लागू किया तब जाकर दूसरों को भी सिखाया। क्या आप भी परमेश्वर के वचन को सिखा रहे हैं?